Posts

Showing posts from November, 2014

पंजाब के गांवों में रचनात्मक परिवर्तन में लगा है आरएसएस

Image
गौतम चौधरी विगत दिनों अमृतसर के सांसद और भारत के निम्न सदन में कांग्रेस के उप नेता कप्तान अमरेन्द्र सिंह ने एक बयान जारी कर कहा था कि रा ’ ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पंजाब के 200 गांवों में नए सिरे से शाखाएं खोल रहा है , जो चिंता का विषय है और इससे पंजाब के ग्रामीण क्षेत्र में सापं्रदायिक ध्रुवीकरण के कारण माहौल बिगड़ने का खतरा पैदा हो गया है। कप्तान अमरेन्द्र के बयान को आधार बनाकर पंजाब कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सरदार प्रताप सिंह बाजवा ने आनन फानन मंे एक समिति बनाई , जिसे पंजाब के गांवों में संघ के विस्तार पर अविलंब रिपोर्ट तैयार कर सौंपने का निर्देश दिया। इधर विभिन्न समाचार माध्यमों में खबरें चलने लगी कि पंजाब में आरएसएस भारतीय जनता पार्टी का आधार तैयार करने में लगा है। खबरों में यह भी बताया जाने लगा कि केन्द्र और हरियाणा में भाजपा अपनी मजबूत पकड़ बनाने के बाद अब पंजाब मंे भी अपने दम पर चुनाव लड़ेगी जिसके लिए आरएसएस ग्रामीण क्षेत्रों में भाजपा का आधार तैयार कर रहा है। इस खबर में कितनी सत्यता है यह पता नहीं लेकिन इस खबर ने जहां एक ओर पंजाब की सियासत में भूचाल ला दिया व

सार्क को नष्ट करने की पाकिस्तानी-चीनी साजिश

Image
संजीव पांडेय खटासों के बीच सार्क की बैठक काठमांडू में संपन्न हो गई। अंतिम दिन कुछ अच्छे संकेत दिखे। पाकिस्तान सार्क देशों के बीच उर्जा सहयोग से संबंधित ग्रिड विकसित करने के समझौते पर राजी हो गया। इससे पहले तीन महत्वपूर्ण समझौते जिसमें रेल और रोड लिंक भी शामिल था, पर पाकिस्तान हस्ताक्षर के लिए तैयार नहीं हुआ था। हालांकि अभी भी उर्जा सहयोग को छोड़ दे तो रेल और रोड लिंक को लेकर पाकिस्तान का रवैया बहुत अच्छा नहीं है। दरअसल सार्क सम्मेलन की शुरूआत में ही विध्न डालने की कोशिश की गई थी। इसमें अहम भूमिका चीन की थी जो सार्क का आब्जर्वर मुल्क बी है। सार्क की बैठक से पहले चीन ने खेल खेला। नेपाल के कुछ और नेताओं को अपनी तरफ कर चीन ने सार्क की सदस्यता हासिल करने का खेल रचा। वहीं सार्क बैठक के दौरान नवाज शरीफ ने सार्क के एजेंडे को ही विफल करने की कोशिश की। उन्होंने सार्क देशों के रेल, रोड लिंक संबंधित समझौते और क्षेत्रीए पावर ग्रिड संबंधी समझौते पर हस्ताक्षर करने से इंकार कर दिए। नवाज शरीफ के इस रवैए ने सार्क बैठक की सफलता पर सवाल उठाए है। काठमांडू में सार्क सम्मेलन की शुरूआत से ठीक पहल

परिवर्तन और ढांचागत सुधार में बीता मनोहर सरकार का एक माह

Image
गौतम चैधरी हरियाणा के मनोहर लाल सरकार का एक महीना पूरा हो गया। हलांकि किसी राज्य सरकार के कार्यकाल के नफा-नुकशानों का मुकम्मल आकलन महज एक महीने में नहीं किया जा सकता है लेकिन एक महने में सरकार की नीति और चाल को देखकर इतना तो अंदाजा लगाया ही जा सकता है कि आखिर सरकार आम लोगों के लिए है या कुछ खास ओहदेदारों के दबाव में काम कर रही है। भाजपा की मनोहर सरकार का आकलन करने वाले अपने-अपने ढंग से आकलन कर रहे हैं, या होंगे लेकिन सरकार ने एक महीने में कम से कम यह तो साबित कर दिया है कि वह आत्मबल से मजबूत और जनता के प्रति जवाबदेह बनने की कोशिश जरूर कर रही है। मनोहर सरकार की कतिपय आलोचनाओं पर हमें पहले दृष्टिनिक्षेप करना चहिए, सो मनोहर सरकार की दो बातों की आलोचना इन दिनों सरेआम हो रही है। पहली आलोचना का कुल लब्बोलुआब सतलोक आश्रम पर दी गयी ढील को लेकर हो रहा है और दूसरी आलोचना सरकार के द्वारा डीजल पर बढाए गये वैट को लेकर किया जाने लगा है। प्रतिपक्षी कांग्रेस पार्टी का कहना है कि सरकार किसान विरोधी है और यही कारण है कि सरकार ने डीजल पर सरचार्ज बढा कर 12.06 प्रतिशत कर दिया है। इस मामले में सरकार के

रूस पाकिस्तान सैन्य समझौता-एशिया में एक नए गठजोड़ के संकेत

Image
  संजीव पांडेय   भारतीय के विदेश नीति निर्धारकों के लिए एक गंभीर सूचना है। रूस ने पाकिस्तान से सैनिक सहयोग करने का फैसला लिया है। 20 नवंबर 2014 को रूसी प्रतिरक्षा मंत्री ने पाकिस्तान दौरे के दौरान पाकिस्तानी रक्षा मंत्री के साथ समझौता किया। यह किसी रूसी रक्षा मंत्री का पाकिस्तानी धरती पर 45 साल के बाद दौरा था।  1969 के बाद किसी रूसी प्रतिरक्षा मंत्री ने पाकिस्तान का दौरा नहीं किया था। पाकिस्तान के साथ रक्षा सहयोग के समझौते पर हस्ताक्षर का मतलब कई है।  रूस के इस कदम के बाद कई सवाल उठे । रूस पिछले दो सालों से यह फैसला लेना चाहता था, लेकिन बीच में मामला रूक जाता था। इसके पीछे भारत था। लेकिन अब रूस के इस फैसले ने यह सवाल उठा दिया है कि क्या रूस अपने परंपरागत दोस्त भारत के बजाए एशियाई कुटनीति में पाकिस्तान को सहयोग करेगा ? क्योंकि रूस ने हाल ही में चीन से बहुत बड़ा व्यापारिक समझौता किया है। रूस ने पाकिस्तान से रक्षा सहयोग पर फैसला तब किया है जब अफगानिस्तान से अमेरिकी सेना वापस हट रही है। वहीं भारत की दोस्ती अमेरिका से लगातार बढ़ रही है। रूस की यह नई रणनीति का सीधा नुकसान भारत को भी

स्वयंभू कबीरपंथी संत बाबा रामपाल का आश्रम और उसका रहस्य

Image
गौतम चैधरी हत्या के मामले में गिरफ्तार सतलोक आश्रम के स्वयंभू कबीरपंथी संत बाबा रामपाल को जेल भेज दिया गया। उनके उपर राष्ट्रद्रोह का मामला दर्ज किया गया है। गुरूवार को माननीय पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में उन्हें प्रस्तुत किया गया और न्यायालय ने बाबा को आगामी 28 नवम्बर तक के लिए न्यायिक अभिरक्षण में भेज दिया। बाबा पर लगाये गये आरोप यदि साबित हो गया तो बाबा को फांसी तक की सजा हो सकती है, यही नहीं, संभव है कि बाबा को अपनी संपत्ति भी गंवानी पड़े। ऐसे बाबा बनते कैसे हैं और वह करते क्या हैं, उसपर बडे पडताल की गुंजाइस है। हम उसी पडताल को लेकर संजीदगी से प्रस्तुत हो रहे हैं। हालांकि मामला धर्म और आस्था दोनों से जुडा हुआ है, परंतु आस्था के नाम पर दुकानदारी और व्यापार, फिर उस व्यापार के माध्यम से अपराध को बढावा देने की प्रवृति, जो आज समाज में बढी है, उसपर गंभीरता से विचार होना चाहिए। इस पडताल में हम उन्हीं बिन्दुओं पर दृष्टिनिक्षेप करने वाले हैं। संत रामपाल मूलतः हरियाणा स्थित सोनीपत जिले के गोहाना तहसील, गांव धनाना के रहने वाले हैं। उनका जन्म सन् 1951 में बताया जाता है। बाबा को जानने

पाकिस्तान में इस्लामिक स्टेट की धमक का मतलब

Image
संजीव पांडेय पाकिस्तान की सरदर्दी बढ़ गई है। क्योंकि खबर यह है कि इस्लामिक स्टेट के अबू बकर अल बगदादी के चेले यहां पहुंच चुके है। इससे पाकिस्तान में हिंसा का नया दौर शुरू होगा। दूसरे मुल्कों में जेहादियों से आतंक मचाना वाला पाकिस्तान अब जेहादियों के चंगुल में खुद इस तरह फंस चुका है कि निकलना मुश्किल लग रहा है। जेहादी अब कश्मीर और अफगानिस्तान में सरकारी प्रतिष्ठानों पर हमले से ज्यादा पाकिस्तान में हमला कर ज्यादा आनंद ले रहे है। पाकिस्तानी सत्ता प्रतिष्ठान के अलग-अलग अंगों दवारा हाल ही में दिए गए विरोधाभासी ब्यानों ने पाकिस्तानी असमंजस को सामने ला दिया है। बलूचिस्तान सरकार की खुफिया रिपोर्ट हिलाने वाली है। रिपोर्ट में कहा गया कि इस्लामिक स्टेट बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनखवा में पैठ जमा चुका है। इसका खंडन केंद्रीय गृह मंत्री निसार अली खान ने किया है। उन्होंने इस्लामिक स्टेट का पाकिस्तान में मौजूदगी को सिरे से खारिज कर दिया है। जबकि बलूचिस्तान सरकार की रिपोर्ट के अनुसार आईएस ने पाकिस्तान में दस हजार लड़ाकों की फौज तैयार कर ली है। इसमें